दिल्ली चुनाव 2025 में अरविंद केजरीवाल ने जनता से पानी बिल माफी का वादा किया। भाजपा और कांग्रेस ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी है। जानिए पूरी जानकारी।
- केजरीवाल ने चुनाव के बाद गलत पानी के बिल माफ करने का वादा किया।
- भाजपा ने केजरीवाल पर आरोप लगाते हुए उनकी नीतियों को असफल बताया।
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिल्ली में 12,200 करोड़ रुपये की परियोजनाओं का शिलान्यास किया।
- जनता की प्रतिक्रियाएं इस मुद्दे पर मिली-जुली हैं।
परिचय
दिल्ली में आगामी विधानसभा चुनाव 2025 के मद्देनजर, राजनीतिक दलों के बीच प्रतिस्पर्धा की गर्माहट बढ़ गई है। आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने जनता को विभिन्न वादे देकर अपनी तरफ आकर्षित करने की कोशिशें तेज कर दी हैं।
मुख्य विवरण
अरविंद केजरीवाल ने हाल ही में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में घोषणा की कि यदि उनकी पार्टी फिर से सत्ता में आती है तो वे दिल्लीवासियों के सभी गलत पानी के बिल माफ कर देंगे। उनका कहना है कि जब से वे जेल गए, तब से भाजपा सरकार ने पानी के बिलों में भारी वृद्धि कर दी है, जिससे दिल्ली की जनता परेशान है।
विपक्ष की प्रतिक्रिया
केजरीवाल के इस वादे पर विपक्षी पार्टी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आम आदमी पार्टी पर आरोप लगाते हुए कहा कि केजरीवाल ने अपने मुख्यमंत्री आवास पर करोड़ों रुपये खर्च किए, जबकि दिल्लीवासियों के लिए पानी की आपूर्ति बेहतर करने के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाए।
जनता की अपेक्षाएं
दिल्ली की आम जनता भी इस मुद्दे पर बंटी हुई नजर आ रही है। जहां एक ओर कुछ लोग केजरीवाल के वादे को राहत की नजर से देख रहे हैं, वहीं दूसरी ओर कुछ लोग इसे चुनावी चाल बताते हैं। पंजाब से दिल्ली आई एक महिला ने कहा, ‘जो वादा किया था वो पूरा नहीं किया है, अब दिल्ली वालों को कह रहे हैं कि 2100 देंगे, ये झूठे वादे करते हैं।’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की घोषणाएं
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी इस चुनावी माहौल में सक्रिय हो गए हैं। उन्होंने दिल्ली में 12,200 करोड़ रुपये की परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया है, जिसमें झुग्गी पुनर्वास परियोजना प्रमुख है। इसके तहत झुग्गीवासियों को अशोक विहार में स्थित 1,675 फ्लैट सौंपे गए हैं।
निष्कर्ष
दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 की गरमी अपने चरम पर है। जहां एक ओर केजरीवाल ने पानी के बिल माफी का वादा किया है, वहीं दूसरी ओर भाजपा और कांग्रेस ने उन पर कई आरोप लगाए हैं। अब देखना यह होगा कि जनता किसके वादों को सच्चा मानती है और किसे सत्ता की कुर्सी पर बैठाती है।